संस्कृति के बिना संस्कार नहीं, जीवन को सकारात्मक कार्यों की प्रेरणा देती है संस्कृति: डॉ० शिवकुमार चौहान
कुलदीप राय उत्तराखंड प्रभारी
हरिद्वार की गूंज (24*7)
(कुलदीप राय) हरिद्वार। व्यक्ति को सक्रिय बनाये रखने का सबसे प्रभावी माध्यम संस्कृति है। संस्कृति ही व्यक्ति को समाज से जोडने तथा जरूरतमन्द लोगों की मदद करने को प्रेरित करती है। इससे व्यक्ति ऊर्जा तथा उमंग के साथ अपने लक्ष्य की ओर बढता है। संस्कृति के बिना जीवन संस्कारित नही हो सकता। गुरूकुल कांगडी समविश्वविद्यालय के एसोशियेट प्रोफेसर डॉ० शिवकुमार चौहान ने यह बात बी०पी०एड तथा एम०पी०एड पाठयक्रम के छात्रों के साथ ऑन-लाईन इन्टरेक्शन व्याख्यान मे कही। जीवन मे संस्कृति की आवश्यकता तथा समाज पर इसके प्रभाव का अध्ययन विषय पर बोलते हुये डॉ० शिवकुमार चौहान ने कहॉ कि संस्कृति के बिना देश तथा समाज नष्ट हो जाता है। संस्कृति से संस्कार निर्माण तथा जीवन के सिद्वान्तों पर चलने की प्रेरणा मिलती है। जिसका संरक्षण करने के लिये सभी को सतत प्रयास करते रहना चाहिये। कार्यक्रम मे एम०पी०एड तथा बी०पी०एड छात्र उपस्थित रहे।