देहरादून

सोशल मीडिया कर देती है अराजकता फैलाने का काम

राजेश कुमार देहरादून प्रभारी

हरिद्वार की गूंज (24*7)
(राजेश कुमार) देहरादून। आज टेक्नोलॉजी व मोबाइल के जमाने मे हर दूसरा व्यक्ति खुद को सोशल मीडिया के माध्यम से क्रांति लाने वाला समझने लगता है, सामने कुछ भी हो रहा हो, फट से जेब से मोबाइल निकाला, शूट किया और बिन घटना की सत्यता परखे व आगे की कार्यवाही जाने अपने सोशल मीडिया एकाउंट पर पोस्ट कर देता है। जिसके चलते आज रोजाना कई ऐसे मामले पुलिस के संज्ञान में है जहाँ सोशल मीडिया में पोस्ट सर्कुलेशन के चलते समाजिक सौहार्द बिगड़ने की संभवाना बन जाती है।

ताजा मामला राजधानी देहरादून के क्लेमेंटटाउन क्षेत्र के अशारोड़ी क्षेत्र से जुड़ा हुआ है।जहां फेसबुक के माध्यम से सोेशल मीडिया पर एक विडियो प्रसारित हो रहा है, जिसमे आशारोडी के पास एक वाहन से राजधानी देहरादून में अवैध गौमांस की तस्करी कर लाना दर्शाते हुए लोगो की धार्मिक भावनाओं को भडकाने का प्रयास किया जा रहा है।

उक्त वीडियो के प्रसारित होते ही राजधानी पुलिस द्वारा की गई जांच में उक्त वीडियो में दिखाए गए तथ्यों को गलत पाया है। पुलिस ने उक्त वीडिया का खंडन करते हुए स्पष्ट किया है कि उक्त पशु मांस को देहरादून में पशु मांस के डिस्ट्रीब्यूटर द्वारा सहारनपुर से खरीदकर लाया जा रहा था,जोकि सर्टिफिकेट के तहत ही सप्लाई किया जा रहा था।

पुलिस ने बताया कि वाहन से बरामद मांस का मौके से ही वैटनरी डॉक्टर द्वारा जांच हेतु सैंपल लिया गया था, जिसकी जांच में उक्त मांस गौमांस न होकर भैंस का होना पाया गया है तथा डिस्ट्रीब्यूटर द्वारा उक्त मांस को सहारनपुर से नियमानुसार लेकर आने के बिल प्रस्तुत किये गये थे। पुलिस जांच में उक्त सभी सर्टिफिकेट सही पाए गए है।

दून पुलिस द्वारा आमजन से अनुरोध किया गया है कि ऐसी किसी भी सूचना को बिना किसी पुष्टि के सोशल मीडिया पर प्रसारित न करें। पुलिस ने जनमानस को ऐसे कृत्यों के खिलाफ चेताते हुए कहा कि सोशल मीडिया पर गलत तथ्यों के आधार पर सूचना प्रसारित कर धार्मिक भावनाओं को भडकाने का प्रयास करने वाले व्यक्तियों के विरूद्व पुलिस द्वारा सख्त कार्यवाही की जायेगी।

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